गुरुवार, 29 अप्रैल 2010

विकास के सारथी डॉ. पवन शर्मा निगमायुक्त पद से विदा हुये

विकास के सारथी डॉ. पवन शर्मा निगमायुक्त पद से विदा हुये

ग्वालियर दिनांक-27.04.2010 -  लगभग ढाई सौ करोड़ के विकास की सौगाते देकर निगमायुक्त डॉ. पवन शर्मा आज कलेक्टर छिंदवाडा के रूप में कार्य करने के लिये अपना प्रभार ग्वालियर के एडीएम वेदप्रकाश को सौंपकर भारमुक्त हुये। निगमायुक्त द्वारा भारमुक्त होने से पहले ग्वालियर में पेयजल के लिये कच्चे पानी की उपलब्धता पर बैठक ली तथा इससे पूर्व महापौर श्रीमती समीक्षा गुप्ता के साथ जलबिहार पर धरने पर बैठे उपनगर ग्वालियर के विधायक प्रधुम्मन सिंह तोमर की समस्याओं को सुनकर नगर निगम की ओर से निराकरण किया।

       निगमायुक्त डॉ. शर्मा द्वारा आज 13 जून 2007 को नगर निगम कमिशनर के रूप में कार्य भार ग्रहण किया गया था। इससे पूर्व 28 जून 2005 से 21 मार्च 2006 तक वे नगर निगम ग्वालियर के कमिश्नर रहे थे। सर्वाधिक अवधि से ग्वालियर कमिश्नर पर कार्य करने वाले डॉ. शर्मा द्वारा अपने कार्यकाल में लगभग 36 करोड़ रू. की हुडको योजना अंतर्गत शहर के सात प्रमुख मार्गों का उन्नयन कर ग्वालियर के सभी प्रवेश मार्गों को फोरलेन सड़कों में बदलने का कार्य किया। इसके अतिरिक्त ग्वालियर शहर में लगभग 12 करोड़ 67 लाख रू. की राशि से अन्य सड़कों का डाम्बरीकरण कर शहर में प्रोजेक्ट उत्थान के माध्यम से लगभग 40 गंदी बस्तियों में 66 करोड़ रू. प्रोजेक्ट उत्थान के लिये डी.एफ.आई.डी. से प्राप्त किये।

       डॉ. शर्मा के ही कार्यकाल में 150 करोड़ रू. की प्रोजेक्ट उदय परियोजना के माध्यम से शहर में आगामी 50 वर्ष के लिये पेयजल समस्या के स्थाई समाधान के लिये कार्य किया। उक्त प्रोजेक्ट अंतिम चरण में है। नगर निगम प्रशासनिक सुधार के लिये प्रशासन का विकेन्द्रीकरण करने का श्रेय भी डॉ. शर्मा को जाता है उनके द्वारा नगर निगम प्रशासन को चार उपनगरीय कार्यालयों में बांटकर प्रशासन का विकेन्द्रीकरण किया तथा कर्मचारियों की क्षमता वृध्दि हेतु निगम में कम्प्यूटर प्रणाली, दोहरी लेखा प्रणाली का विकास किया।

डॉ. शर्मा के कार्यकाल में नगर निगम के अत्याधुनिक सर्वसुविधायुक्त स्व. नारायण कृष्ण शेजवलकर प्रशासनिक भवन का कार्य प्रांरभ हुआ। इसी अवधि में ग्वालियर को रज्जु मार्ग की सौगात प्राप्त हुई। डॉ. शर्मा के कार्यकाल में ग्वालियर में देश की पांचवी अखण्ड ज्योति स्थापित की गई तथा नगर निगम ग्वालियर में सिंधिया स्वर्ण कप, राष्ट्रीय फुटबाल, टेनिस बॉल क्रिकेट जैसे महत्वपूर्ण आयोजन पुन: प्राप्त हुये।

नागरिकों को बेहतर सुविधायें प्रदान कराने के लिये शहर का प्रथम सिटीजन सर्विस सेन्टर, नगर का सेटेलाईट मेप तैयार कराना, मल्टी परपज हाउस होल्ड सर्वे, सिटी डेवलपमेंट तैयार कराने का कार्य भी निगमायुक्त डॉ. शर्मा के कार्यकाल में सम्पन्न हुआ। शहर को पेयजल समस्या से मुक्ति कराने के लिये 15 बड़ी टंकियां निर्मित कर तिघरा पर 45 मिलियन लीटर प्रतिदिन क्षमता का एक नवीन जलशोधन संयंत्र के निर्माण का प्रांरभ भी डॉ. शर्मा के कार्यकाल में प्रांरभ हुआ। यू.आई.डी.एस.एस.एम.टी. के तहत केन्द्र सरकार द्वारा सीवर समस्या के निदान के लिये 66 करोड़ रू. स्वीकृत किये गये।

विदाई समारोह में नगर निगम के अपर आयुक्त सुरेश शर्मा, कौशलेन्द्र सिंह भदौरिया, उपायुक्त सुरेन्द्र सिंह भदौरिया, अभय राजनगांवकर, देवेन्द्र सिंह चौहान, डॉ. प्रदीप श्रीवास्तव, जगदीश शर्मा, गुलाबराव काले लेखाधिकारी दिनेश बाथम एवं निगम कर्मचारी उपस्थित रहे।

 

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